बीजिंग । चीन में हुई अजीब घटना से पूरी सरकार बुरी तरह से घबरा गई है। पूरा भारत भी इस खबर को सुनकर हैरान होगा। चीन में ऐसा बवाल शुरू हुआ है कि इस साल बच्चों से ज्यादा पालतू कुत्ते और बिल्ली हो जाएंगे। यानी खुद को महाशक्ति बोलने वाले चीन में अब बच्चों से ज्यादा पालतू जानवर होंगे। रिपोर्ट कहती है कि इस साल के आखिर तक चीन के शहरों में पालतू जानवरों की संख्या चार साल के उम्र के बच्चों से भी ज्यादा होगी। जानकारों ने कहा कि चीन में युवा जोड़े बेरोजगारी की वजह से कई चुनौतियों का सामना कर रहे हैं।
इन लोगों के लिए बच्चे पालना काफी महंगा हो चुका है। इसकारण अब चीन के लोग बच्चों की जगह पालतू जानवर पाल रहे हैं। इसमें सबसे ज्यादा कुत्ते और बिल्ली शामिल है। कई चीनी जोड़े बच्चों के लिए नहीं इसके बजाय, वे पालतू माता-पिता बन गए हैं। अनुमान के अनुसार, 2030 तक सिर्फ शहरी चीन में पालतू जानवरों की संख्या देश भर में छोटे बच्चों की संख्या से लगभग दोगुनी होगी। यदि ग्रामीण क्षेत्रों में कुत्तों और बिल्लियों की संख्या को शामिल किया जाए, तब देश की पालतू स्वामित्व दर और भी अधिक होगी।
वहीं लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने भारत में उत्पादन पर ध्यान केंद्रित करने की जरूरत पर जोर देकर कहा है कि वैश्विक उत्पादन में चीन का प्रभुत्व है, इसलिए वह बेरोजगारी नहीं है, जबकि भारत और अमेरिका सहित पश्चिमी देश बेरोजगारी की समस्या से जूझ रहे हैं। लेकिन आपको ये जानकर हैरानी होगी कि जुलाई के महीने में चीन में युवाओं की बेरोजगारी दर 17 प्रतिशत तक पहुंच गई है।
चीन में बेरोजगारी चरम पर, बच्चे पैदा करने की जगह कुत्ते और बिल्ली पाल रहे लोग
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